*बाप का अपने घरवालों की तरफ से क़ुरबानी करना*
⭕आज का सवाल न.११०९⭕
बाप अपने बच्चों और घर वालों की तरफ से हर साल क़ुरबानी करता है तो घरवालों की या बच्चों की इजाज़त लेना ज़रूरी है ?
🔵जवाब🔵
حامدا و مصلیا و مسلما
अगर बाप का मामूल है के वो हर साल अपने बीवी बच्चों की तरफ से क़ुरबानी करता है तो सब की तरफ से क़ुरबानी दुरुस्त है, घर वालों ने इजाज़त दी हो या न दी हो.
हाँ अगर हर साल बच्चों की तरफ से क़ुरबानी करने का मामूल नहीं है बल्कि कभी कभी बड़े बच्चे अपनी क़ुरबानी खुद भी कर लेते है तो उन की इजाज़त लेना ज़रूरी है वरना क़ुरबानी सहीह नहीं होगी.
📗किताबुल मसाइल २२७ से माखूज
*नॉट*:
सवाल न. ११०६ में अहसनुल फतावा के हवाले से लिखा था के सात हिस्सों में से किसी की कमाई हराम की हो तो किसी की भी क़ुरबानी सहीह नहीं होगी.
मुफ़्ती सलमान मन्सूरपूरी और दूसरे मुफ्तियाने किराम का कहना है के सब की क़ुरबानी इस सूरत में भी सहीह हो जाएगी और इन की दलील भी मज़बूत है.
📕 किताबुल नवाज़िल २२/ ३३४ से ३३६ से माखूज़
و الله اعلم بالصواب
✏मुफ़्ती इमरान इस्माइल मेमन
🕌उस्ताज़े दारुल उलूम रामपुरा, सूरत, गुजरात, इंडिया.
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